Who is the ghost sniper who attacked at night in Russia Ukraine war?
रशिया यूक्रेन युद्ध में रात को हमला करनेवाले घोस्ट स्नाइपर कौन है ?
छुपकर रशियन सैनिकों पर वार करनेवाले यूक्रेन के घोस्ट स्नाइपर कौन है ?
रशिया यूक्रेन युद्ध में रात को हमला करनेवाले घोस्ट स्नाइपर कौन है ?
छुपकर रशियन सैनिकों पर वार करनेवाले यूक्रेन के घोस्ट स्नाइपर कौन है ?
रशिया और यूक्रेन कि जंग बहुत ही नाजुक मोड़ पर पहुंची हुई दिख रही है । यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमीर जेलेंसकी ने कहाँ है । युद्ध अब उसकी दहलीज तक पहुंच रहा है । उधर बखमुत में भी यूक्रेनी सेना बढत का दावा कर रही है । कौन है यूक्रेन के यह घोस्ट स्नाइपर ? जो छुपकर रशिया के सैनिकों पर वार कर रहे हैं ?
वैगनर ग्रुप के प्रमुख ने कहाँ है । अब जेल में कैदी भर्ती नहीं किये जाएगे। लेकिन उन्होंने अपने समर्थकों से संपर्क में रहने को कहाँ है । हमारे पास सैनिकों कि कमी नहीं है । लेकिन आगे और सैनिकों की जरूरत पड़ सकती है । पिछले महीने की नाकाम बगावत के बाद इस ग्रुप के ताजा हालात के बारे में स्थिति साफ नहीं है । वैगनर ग्रुप फिलहाल यूक्रेन के खिलाफ पुरी तरह से जंग नहीं लड़ रहे है । लेकिन उसके कुछ लड़ाकों ने रशियन सेना के साथ कॉन्ट्रैक्ट साइन किया है वहीं कई लोग बेलारूस चले गए है ।
राजधानी मॉस्को में एक ड्रोन हमले के बाद यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमीर जेलेंसकी ने चेतावनी दी है । कि अब जंग रशिया तक पहुँचने वाली है । रशियन रक्षा मंत्रालय ने कहाँ है । तीन यूक्रेनी ड्रोन को मार गिराया गया है । इस मे से दो ड्रोन ऑफिसों से टकरा गये थे । इस हमले की वजह से शहर के एक एयरपोर्ट को कुछ दिन के लिए बंद करना पडा । यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लादिमीर जेलेंसकी ने रशिया में हमले को भी जायज ठहराया ।
उधर रशियन राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहाँ है सेन्ट पिटरर्सबर्ग में नेवी के कार्यक्रम में शामिल हुए । पुतिन ने एलान किया है । कि रशियन नेवी को इस साल तीस नए युद्ध पॉट मिले है । इस कार्यक्रम में चार अफ्रीकी देशों के राष्ट्रपति भी शामिल हुए थे । जहाज से संबोधित करते हुए पुतिन ने रशियन नौसेना का बहादुरी से लड़ते रहने के लिए शुक्रिया भी अदा किया है । और कहाँ रशिया के नाम पर हमारी नेवी अपना बेहतरीन कौशल दिखाती है । असली बहादुरी दिखाती है । बहादुरी से लड़ती है । हमारे पूर्वजों के जैसे में रशियन नेवी के कर्मचारियों को अपनी जिम्मेदारी अच्छी तरह से भरोसेमंद तरीके से पूरा करने के लिए शुक्रिया अदा करता हूँ ।
उधर यूक्रेन के सैनिक जंग के मैदान में बखमुत के पास आगे बढ़ रही है। यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंसकी युद्ध के मौके पर पहुंचे । सैनिकों को उनकी बहादुरी के लिए उनकी तारीफ की इस साल की शुरुआत में भीषण लड़ाई के बाद रशिया ने इस शहर पर कब्जा कर लिया था । रात को काम करने वाली इस टीम को घोस्ट ऑफ बखमुत कहाँ जाता है । घोस्ट ऑफ बखमुत के सैनिक ने कहाँ इस जगह को एज ऑफ एक्जिस्टेंस कहते हैं, इन स्नाइपर को घोस्ट ऑफ बखमुत के नाम से जानते है । क्योंकि ये खामोशी से मौत लाते है । उनकी बेस रूसी सेना की रेंज में है । यह काफी नजदीकी मामला था, लेकिन यह लोग दुश्मन के मोर्चे के और करीब जाने वाले हैं । उनका कहना है, आप आर्टिलरी से बच सकते हैं । स्नाइपर से नहीं । इनका काम गोलाबारी से ज्याद सटीक है । हम 524 लोगों को मार चुके हैं। उनमें से 76 अकेले मैंने मारे हैं ।
घोस्ट ऑफ बखमुत के स्नाइपर बखमुत के करीब 9 लोग पिछले 6 महीने से ऑपरेशन में जुटे हैं । ये कई बार बड़े रशियन टारगेट की तलाश में रहते हैं । यह हर मौत को रिकॉर्डिंग भी करते हैं। आज रात के मिशन में निशाना लगाने का काम कुझीया करने वाले हैं । जंग से पहले एक फैक्ट्री में वो काम करते थे । जब वे आम नागरिक थे । तो उन्हें हथियार पसंद नहीं थे। लेकिन अब अपने देश को बचाने के लिए उन्हें हथियार उठाना पड़ा है । बिल्कुल उन्हें भी डर लगता है । कोई बेवकूफ ही होगा जो इस माहौल से नहीं डरेगा ।
अंधेरा होते हि मूड बदलने और आर्टलरी की आवाज से बचने के लिए सैनिक म्यूजिक सुनते है । कई बार ड्राइवर गोलाबारी के बारे में आगाह करते हैं । इनकी यूनिफॉर्म ब्रिटेन की दी हुई है । कई बार टारगेट की रेंज में पहुंचना मिशन का सबसे खतरनाक हिस्सा होता है ? इन्हें टारगेट तक पहुंचने के लिए कभी कभी एक मील तक चलना पडता है ।
घोस्ट ऑफ बखमुत के स्नाइपर का कहना है कि उन्होंने टीम के हर सदस्य को उनकी देशभक्ति की वजह से चुना है । टीम की वापसी के इंतजार के बीच वे अपनी 7 साल की बेटी को कॉल करते हैं । वह उसे पहले ही गन पकड़ना शिखा चुके हैं । 7 घंटे बाद दो लोगो की टीम को निकाला जाता है । सुबह गोलाबारी से पहले थोडी राहत देखी जाती है । बस एक शॉट एक टारगेट । इन्हें सुरक्षित देखकर कमांडर गोश्त राहत की सांस ले रहे हैं । कोई भी मिशन इनका आखरी मिशन हो सकता है । लेकिन वो एक अच्छा काम कर रहे हैं । यह यूक्रेन के साइकोलॉजिकल वॉर का हिस्सा है । एक ऐसी जगह से किसी को निशाना बनाना जो दिखती नहीं, एक ऐसी आवाज के साथ जो सुनाई नहीं देती । बस वापसी का सबको इंतजार है ।
क्या शांति कायम होने की कोई गुंजाइश है ? राष्ट्रपति पुतिन का कहना है वह यूक्रेन को लेकर किसी भी शांति वार्ता के विरोध में नहीं है । लेकिन उन्होंने यह भी कहाँ है । कि जब तक यद्ध का सिझफ़ायर नहीं हो जाता है । तब तक रशियन सेना यूक्रेन कि सेना के जवाबी अभियान में लगी हुई है । इसे लेकर न्यूजीलैंड के यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर एलेक्ज़ेंडर गेलेंसकी ने कहाँ है । आपके पास बहुत सारे प्रस्ताव हैं। आपके पास यूक्रेन अफ्रीकी देशों और चीन सभी के प्रस्ताव है । आप यह भी देख सकते हैं । कि रशियन क्या चाहते हैं ? इसके 3 पहलू है । पहला है, जगह विवादित इलाका रशिया का हिस्सा बन जाता है । आजाद हो जाता है या फिर यूक्रेन को वापस मिलता है । दूसरा मामला अपराध का है । क्या इसके लिए किसी की जिम्मेदारी तय की जाएगी ? और जो नुकसान हुआ है, उसकी भरपाई कैसे होगी ? और सबसे अंत में भविष्य में इस क्षेत्र की सुरक्षा यानी नाटो । इन तीन मामलों को देखते हुए शांति समझौता होना चाहिए । लेकिन हमें इस बात की कोशिश करते रेहनी चाहिए । उसको हासिल करने के लिए हम कौन सा रास्ता अपनाये ? फिलहाल ये जंग ज्यादा दिनों तक नहीं चल सकेगी । ऐसा इनका मानना है ।
#Ukraine #bakhmut #Ghostsofbakhmut
#VolodymyrZelenskyy #VladimirPutin
#Wagnergroup #Russia
Writer Ridham Kumar
Top 10 car in usa Ever wondered what drives...
Hello Friends in this post you will learn about Top...
Step-by-Step Guide to the Insurance Claim Process Understanding Total Settlement:...